नमस्कार किसान भाइयों आज हम कीटनाशक स्प्रेयर मशीन पर जानकारी देंगे। यह मशीन कैसे क्या काम करती है। आजकल खेती सिर्फ मेहनत का नहीं, समझदारी का काम बन चुका है। पहले लोग हाथ से कीटनाशक का छिड़काव करते थे, जिससे समय भी ज्यादा लगता था और शरीर को नुकसान भी होता था। लेकिन अब जब बाजार में तरह-तरह की कीटनाशक स्प्रेयर मशीन आ चुकी हैं, अब क्यों न उनकी मदद ली जाए। मशीन खरीदने से पहले कुछ जरूरी बातें जानना बहुत ज़रूरी है वरना पैसा भी बर्बाद होगा और फसल भी।
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बहुत बार किसान सिर्फ़ ब्रांड या दाम देखकर स्प्रेयर मशीन खरीद लेते हैं, लेकिन उसके टैंक की क्षमता, दबाव बनाने की ताकत और बैटरी या इंजन की क्वालिटी पर ध्यान नहीं देते। इससे बाद में मशीन जल्दी खराब हो जाती है या कीटनाशक का छिड़काव बराबर नहीं हो पाता। इसलिए मशीन लेने से पहले अपनी फसल, खेत का आकार और जरूरत के हिसाब से स्प्रेयर का चुनाव करना ही समझदारी है।
1.कीटनाशक स्प्रेयर मशीन क्या होती है?
कीटनाशक स्प्रेयर मशीन एक ऐसा उपकरण होता है जो खेती में कीटनाशकों या खाद का छिड़काव करने के काम आता है। यह मशीन खेती में मेहनत और समय दोनों को बचाती है।पहले जहां एक एकड़ खेत में छिड़काव करने में 3-4 घंटे लगते थे, वहीं अब यही काम 30 मिनट से 1 घंटे में हो जाता है। साथ ही किसान को सीधा केमिकल के संपर्क में आने से भी बचाव होता है।
2. स्प्रेयर मशीन खरीदने से पहले ध्यान देने वाली 10 ज़रूरी बातें
अब जब आप मशीन खरीदने का सोच ही रहे हो, तो इन बातों को नजरअंदाज़ बिल्कुल मत करना:
- आपके खेत का आकार: छोटे खेत के लिए हैंड स्प्रेयर ठीक रहेगा, बड़े खेतों के लिए बैकपैक या ट्रैक्टर माउंटेड स्प्रेयर।
- टैंक की क्षमता: 12 लीटर से लेकर 600 लीटर तक के टैंक आते हैं। जरूरत के हिसाब से लें।
- पंप का प्रकार: मैन्युअल, बैटरी ऑपरेटेड या इंजन बेस्ड तीनों की अपनी जरूरत होती है।
- नोज़ल की क्वालिटी: अच्छी स्प्रे के लिए हाई क्वालिटी नोज़ल ज़रूरी है।
- बैटरी की बैकअप: बैटरी ऑपरेटेड स्प्रेयर में बैटरी 4-8 घंटे चले, ये देखना ज़रूरी है।
- ब्रांड और वारंटी: हमेशा भरोसेमंद कंपनी की मशीन लें: जैसे किसान क्राफ्ट, Neptune, Honda आदि।
- सर्विस सेंटर की उपलब्धता: आपके नज़दीक सर्विस सेंटर है या नहीं, यह ज़रूर जांचें।
- मशीन की कीमत: जरूरत से ज्यादा महंगी या बहुत सस्ती मशीन से बचें।
- पोर्टेबिलिटी: अगर आप मशीन को कंधे पर लेकर चलते हैं, तो उसका वजन ज़रूरी है।
- फीचर्स: कुछ स्प्रेयर में प्रेशर कंट्रोल, ऑटो स्टॉप, मल्टीपल नोज़ल जैसे फीचर्स मिलते हैं। ये फायदे देते हैं।
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3. स्प्रेयर मशीन से जुड़ी जरूरी जानकारी?
जानकारी का शीर्षक | विवरण |
---|---|
मशीन का नाम | कीटनाशक स्प्रेयर मशीन |
इस्तेमाल का उद्देश्य | कीटनाशकों और दवाओं का छिड़काव |
इस्तेमाल करने वाले | किसान, बागवानी करने वाले |
पावर का प्रकार | मैनुअल, बैटरी से चलने वाली, पेट्रोल इंजन वाली |
टैंक की क्षमता | 12 लीटर से 25 लीटर तक |
नोज़ल की संख्या | 1 से 4 तक (मॉडल पर निर्भर) |
छिड़काव की रेंज | लगभग 2 से 4 मीटर तक |
वजन | 6 से 12 किलोग्राम (मॉडल पर निर्भर) |
कीमत | ₹1,500 से ₹8,000 तक (प्रकार पर निर्भर) |
रखरखाव | हर इस्तेमाल के बाद सफाई जरूरी |
खरीदने के स्रोत | कृषि केंद्र, ऑनलाइन वेबसाइट, स्थानीय दुकानों से |
लाभ | समय की बचत, कीटनाशकों की एकसमान स्प्रे |
सावधानियां | PPE किट पहनें, हवा की दिशा का ध्यान रखें |
4. कीटनाशक का असरदार स्प्रे कैसे करें?
एक अच्छी मशीन होना काफी नहीं है। स्प्रे करते समय इन बातों का ध्यान रखना ज़रूरी है।
- समय: सुबह जल्दी या शाम को स्प्रे करें ताकि धूप में केमिकल उड़ न जाए।
- मौसम: तेज हवा या बारिश में स्प्रे न करें।
- डोज: कीटनाशक की सही मात्रा डालें, ज्यादा या कम से फसल को नुकसान हो सकता है।
- दिशा: हवा की दिशा में स्प्रे करें, ताकि स्प्रे आपके ऊपर न गिरे।
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5. मशीन की सफाई और मेंटेनेंस?
स्प्रेयर मशीन जितनी अच्छी हो, उसका रख-रखाव उतना ही ज़रूरी है।
अगर सही तरीके से सफाई और देखभाल न की जाए तो मशीन जल्दी खराब हो जाती है।
कैसे रखें ध्यान:
- हर इस्तेमाल के बाद टैंक को अच्छे से धोएं।
- बैटरी स्प्रेयर की बैटरी को ओवरचार्ज न करें।
- नोज़ल ब्लॉक हो गया हो तो पिन से साफ करें, मुंह से हवा न मारें।
- सीजन खत्म होने पर मशीन को धूप से दूर रखें।
6. मशीन के साथ कौन-कौन से एक्सेसरीज आते हैं?
जब आप एक स्प्रेयर मशीन खरीदते हैं, तो साथ में कुछ जरूरी चीज़ें मिलती हैं।
- मल्टीपल नोज़ल सेट
- बैटरी चार्जर (अगर बैटरी वाला है)
- बेल्ट और स्ट्रैप
- स्पेयर पिन और वॉशर
- यूज़र मैन्युअल
इन सबका सही इस्तेमाल आपको मशीन की उम्र बढ़ाने में मदद करेगा।

7. कीटनाशक स्प्रेयर मशीन के फायदे और नुकसान?
फायदे:
- मेहनत और समय की बचत
- कीटनाशकों का समान और सटीक छिड़काव
- फसल को ज्यादा सुरक्षा
- किसान की सेहत का ध्यान
नुकसान:
- खराब गुणवत्ता वाली मशीन से दिक्कतें
- गलत इस्तेमाल से फसल को नुकसान
- बैटरी या इंजन फेलियर की समस्या
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8. कीटनाशक स्प्रेयर मशीन से जुड़े 5 रोचक?
- भारत में हर साल 10 लाख से ज़्यादा स्प्रेयर मशीन बिकती हैं।
- एक अच्छी स्प्रेयर मशीन 3-4 साल तक आसानी से चल सकती है।
- ड्रोन स्प्रेयर अब खेती में तेजी से लोकप्रिय हो रहे हैं।
- बैटरी ऑपरेटेड मशीन की स्प्रे स्पीड 4-5 लीटर/मिनट होती है।
- अच्छे नोज़ल से 90% तक कीटनाशक बचाया जा सकता है।
- ट्रैक्टर माउंटेड स्प्रेयर से 10 एकड़ खेत एक दिन में कवर हो सकता है।
- सोलर बैटरी स्प्रेयर भी अब बाजार में उपलब्ध हैं।
- कुछ मशीनों में GPS सिस्टम भी आता है।
- एक बार चार्ज करने पर 4 टैंक तक स्प्रे किया जा सकता है।
- Agriculture subsidy के तहत कई राज्यों में मशीन पर 50% तक की छूट मिलती है।
9. सरकार से सब्सिडी कैसे मिले?
बहुत से किसान ये नहीं जानते कि सरकार खेती के उपकरणों पर सब्सिडी देती है। आप कृषि विभाग की वेबसाइट या CSC सेंटर के ज़रिए कीटनाशक स्प्रेयर मशीन पर 40% से 80% तक सब्सिडी पा सकते हैं।
- इसके लिए आपको आधार कार्ड, बैंक पासबुक, जमीन की खतौनी और मशीन का बिल देना होता है।
10. अक्सर पूछे जाने वाले सवाल (FAQs)
Q1. सबसे अच्छी स्प्रेयर मशीन कौन सी है?
A: किसान क्राफ्ट, Neptune, Aspee और Honda की मशीनें किसानों के बीच सबसे ज्यादा लोकप्रिय हैं।
Q2. बैटरी ऑपरेटेड स्प्रेयर कितनी देर चलता है?
A: एक बार चार्ज करने पर लगभग 4 से 8 टैंक तक स्प्रे किया जा सकता है, जो 4-5 घंटे तक चलता है।
Q3. क्या सरकार स्प्रेयर मशीन पर सब्सिडी देती है?
A: हां, कृषि विभाग के तहत 40-80% तक सब्सिडी मिलती है, राज्य अनुसार अलग-अलग।
Q4. कौन सा स्प्रेयर बड़े खेत के लिए सही रहेगा?
A: ट्रैक्टर माउंटेड या ड्रोन स्प्रेयर बड़े खेतों के लिए सबसे उपयुक्त होते हैं।
Q5. स्प्रे के समय क्या सावधानी रखनी चाहिए?
A: हमेशा हवा की दिशा में स्प्रे करें, मास्क और ग्लव्स पहनें और सही डोज़ में कीटनाशक मिलाएं।
निष्कर्ष:कीटनाशक स्प्रेयर मशीन की जानकारी से पहले जानें ये बातें?
भाई, बात सीधी सी है। अगर तुम खेती में मेहनत कम करके, ज्यादा दिमाग लगाकर काम करना चाहते हो तो कीटनाशक स्प्रेयर मशीन अब जरूरत बन चुकी है। लेकिन बिना सोचे-समझे मशीन खरीदना नुक़सान भी कर सकता है। इसलिए ऊपर बताई गई बातों का ध्यान रखो, अपनी ज़रूरत के हिसाब से सही मशीन खरीदो और अगर मौका मिले तो सरकारी सब्सिडी का फायदा भी जरूर उठाओ।